बुखार का घरेलु इलाज
दोस्तो बुखार होना
बहुत ही आम बात है , क्युकि
ऐसा कोइ भी ऐसा व्यक्ती नही है , जिसे कभी भी बुखार हुआ ही नही हो , किसी न कीसी तरह हो
ही जाता है , लेकिन बुखार को हल्के
मे नही ले क्युकि बुखार होना सिर्फ बुखार नही वल्की कोई ऐसी बीमारी का सिम्बल भी
हो सकता है , क्युकी
बहुत से ऐसे बीमारी है जिसका पहला लक्षण
बुखार हो सकता है , बुखार बहुत से कारण हो सकता है ।वैसे लोग
जिनका रोग-प्रतिरोध क्षमता कमजोर होती है वे बहुत ही जल्दी बुखार शिकार हो जाते
हैं । तो जानते है ,बुखार के लक्षण ,और
घरेलु उपाय जिसे अपनाकर स्वस्थ हो सकते हैं ।
बुखार के लक्षण
अक्सर बुखार होने पर हमारे शरीर के तापमान
समान्य से ज्यादा बढ जाता है , और
हाथो और पैरो मे दर्द होने लगती है . और इसी के साथ रोगी को उलटी ,थकान और सर मे दर्द ,कमजोरी इनका मुख्य लक्षण होती
है , अगर बुखार ज्यादा दिनो से हो तो कई बार रोगी बेहोश तक
हो जाता है ।जरुरी होती है सही चेकअप कराने के बाद सही रूप से इलाज कराना ।
बुखार होने के कारण
बुखार होने के अनेक
कारण हो सकता है , मौसम
मे बदलाब के चलते जैसे कई बार मौसम मे अनियमित बदलाब के कारण कई लोग उस मौसम के
अनुकुल खुद को ढाल नही पाते हैं ,और बुखार के शिकार हो जाते
हैं लेकिन ऐसे बुखार से डरने की जरुरत नही होती है ,क्युकी
ऐसे बुखार ज्यादा दिनो तक नही रहते हैं ,और हल्के-फुल्के
दवाइ लेने के बाद ठीक हो जाते हैं , इस तरह की बुखार से बचने
के लिये रोजाना तुलसी की 3-4 पत्तियो का इस्तेमाल करे,
और कई बार जो लोग
जिनका रोग-प्रतिरोध क्षमता कमजोर होती है वे लोग किसी वायरस के सम्पर्क मे आकर
बुखार के हत्थे चढ जाते हैं , जिसे
वायरल फिवर कहते हैं ,
बुखार से बचने के उपाय
बुखार से बचने के लिये
खास तरह के सावधानी वरतनी चाहिये , बुखार से बचने के लिये अगर गर्मी के मौसम हो तो कभी भी दोपहर मे या जब तेज
धुप हो तो बाहर न निकले , इससे लू जैसी बुखार हो सकती है .
और बरसात के मौसम मे साफ -सफाइ पर विशेष रुप से ध्यान दे , क्युकि
यही मौसम मे वायरल -फिवर होने की खतरा बनी रहती है , जब भी
पानी पीना हो तब पहले उबाल ले , और स्वछ भोजन का ही प्रयोग
करे ।
और सबसे ज्यादा बुखार
की शिकायत शर्दी की मौसम मे होती है ,इस समय बच्चे और बुढे ज्यादा परेशान रहते हैं , इस
समय अधिक ठंड के कारण हो जाती है , जिसमे बुखार के साथ -साथ
सर्दी-खांसी भी होती है जिसे आम भाषा मे
ठंड लग जाना कहते हैं . इस मौसम मे जरुरत के अनुसार गर्म कपडे पहने और ठंड मे बाहर
निकलने से बचे , और सुबह -शाम को गर्म पेय का सेवन जरुर करे ,
जिसमे शुप, अदरक वाली चाय आदी ले सकते हैं ।
बुखार मे भोजन कैसा होना चाहिये
जिन भी लोग को बुखार
हो उन्हे हल्की भोजन ही खाने चाहिये , और ठंडे और वासी भोजन न खाये , मसालेदार भोजन को भी
परहेज करे , सुबह फलो के जुस के साथ दालो से बनी हुइ खिचडी
दे , और दोपहर के समय दाल -रोटी , बिना
मसाले वाले सलाद आदी खा सकते हैं ।
बुखार की घरेलु उपाय
अगर रोगी का शरीर का
तापमन ज्यादा है तो उसके माथे पर भिंगे हुए कपडे की पट्टी रखे ,और थोडी समय पर इसे बदलते रहे ।
पानी का सेवन ज्यादा
से ज्यादा करे इससे हमारे शरीर से जहरिले तत्व बाहर निकलने मे मदद करती है ।
थोडी सी तुलसी कि
पत्ती , मुलेठी , शहद को एक
कप पानी मे अच्छी तरह से उबाल ले और चाय के रुप मे सेवन करे ।
कालीमिर्च, तुलसी की पत्ती , अदरक
, दलचीनी की काढा बनाकर पिये , इससे
वायरल फिवर मे पीने से लाभ मिलती है ।
प्याज का जुस ले सकते
हैं ,जो बुखार के साथ -साथ हमारे पाचन क्रिया के
लिये भी बहुत हि फायदेमंद होती हैं ।
हर्बल -टी ले जो
एंटीऑक्सिडेंट और एंटीवैक्ट्रियल है , जो वायरल बुखार या अन्य तरह के मौसमी बुखार को दुर करती है ।
अगर बुखार हलकी है ,तो तुलसी ,गिलोय के पत्तियो की काढा बनाकर पिये लाभ मिलेगी ।
Note
– अगर बुखार बहुत दिनो से है, तो डॉक्टर से
सम्पर्क जरुर करे ।
आप से एक सवाल ,और जबाब देनेवाले बने हमारे लकी रीडर और पाये गिफ्ट जितने का मौका ,
सवाल - मलेरिया की बुखार होने की मुख्य कारण क्या है |
जबाब देने के लिए कमेंट करे |
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